सागर में बूंदें बसीं, उन का आदि न अंत,
बूंदों में सागर बसा, कहते हैं यह संत.
कहते हैं यह संत, भेद दोनों में ऐसा,
आत्मा, परमात्मा में अन्तर होता जैसा.
कह ज़ीरो, परमात्मा को आत्मा में पाते,
जैसे बूंदों द्वारा सागर देखे जाते.
बूंदों में सागर बसा, कहते हैं यह संत.
कहते हैं यह संत, भेद दोनों में ऐसा,
आत्मा, परमात्मा में अन्तर होता जैसा.
कह ज़ीरो, परमात्मा को आत्मा में पाते,
जैसे बूंदों द्वारा सागर देखे जाते.
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